Aise Kyun Lyrics Can Be Fun For Anyone

जग जर्जर प्रतिदन, प्रतिक्षण, पर नित्य नवेली मधुशाला।।२३।

नहीं जानता कौन, मनुज आया बनकर पीनेवाला,

देखो प्याला अब छूते ही होंठ जला देनेवाला,

किंकर्तव्यविमूढ़ मुझे कर दूर खड़ी है मधुशाला।।७।

जग में आकर सबसे पहले पाई उसने मधुशाला।।२७।

जलने से भयभीत न जो हो, आए मेरी मधुशाला।।१५।

हाथों में आने-आने में, हाय, फिसल जाता प्याला,

She did her scientific studies from Greenway navigate here Contemporary Faculty and utilized to stick with her close relatives in Dilshad Backyard garden, Delhi.[five][6] She discontinued her studies suitable after schooling to go after a profession while in the tunes marketplace.

विक्रेता के संकेतों पर दौड़ लयों, आलापों में,

जगती के पहले साकी से जूझ रही है मधुशाला।।७४।

चलने ही चलने में कितना जीवन, हाय, बिता डाला!

क्या कहता है, अब न चलेगी मादक प्यालों की माला,

ज्वाल सुरा जलते प्याले में दग्ध हृदय की कविता है,

जीवन की मधुता तो तेरे ऊपर कब का वार चुका,

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